

🚨 सहारनपुर परिक्षेत्र में ‘ऑपरेशन सवेरा’ की ऐतिहासिक सफलता – तीन शातिर नशा तस्कर गिरफ्तार, ₹9 लाख की स्मैक बरामद 🚨
सहारनपुर, उत्तर प्रदेश | 09 सितम्बर 2025।
सहारनपुर परिक्षेत्र में पुलिस उपमहानिरीक्षक (डीआईजी) श्री अभिषेक सिंह के कुशल नेतृत्व में चलाया जा रहा “ऑपरेशन सवेरा” नशे के खिलाफ एक निर्णायक युद्ध साबित हो रहा है। इस विशेष अभियान का उद्देश्य नशे के अंधकार से समाज को निकालकर जीवन के उजाले की ओर ले जाना है। प्रदेश सरकार और पुलिस प्रशासन का स्पष्ट संदेश है कि नशे के अवैध कारोबार में लिप्त किसी भी व्यक्ति को बख्शा नहीं जाएगा और जो भी समाज के भविष्य के साथ खिलवाड़ करेगा, उसके खिलाफ कठोरतम कार्रवाई की जाएगी।
इसी कड़ी में थाना नई मंडी, जनपद मुजफ्फरनगर पुलिस ने बड़ी सफलता हासिल करते हुए नशे के धंधे में सक्रिय तीन शातिर तस्करों को गिरफ्तार किया है। गुप्त सूचना पर की गई इस कार्रवाई में पुलिस ने आरोपियों के कब्जे से 41.48 ग्राम अवैध स्मैक बरामद की है। बरामद नशीले पदार्थ की अंतर्राष्ट्रीय बाजार में अनुमानित कीमत लगभग ₹9 लाख बताई जा रही है। इतना ही नहीं, तस्करी में प्रयुक्त एक स्प्लेंडर मोटरसाइकिल भी जब्त की गई है। पुलिस सूत्रों के अनुसार, पकड़े गए आरोपियों से पूछताछ की जा रही है और यह पता लगाया जा रहा है कि उनका नेटवर्क कितने बड़े स्तर पर फैला हुआ है तथा इसके पीछे कौन-कौन से लोग सक्रिय हैं।
“ऑपरेशन सवेरा” का यह नाम अपने आप में एक संदेश है – “नशे के अंधकार से जीवन के उजाले की ओर”। डीआईजी श्री अभिषेक सिंह ने स्वयं इस अभियान की निगरानी की और अधीनस्थ पुलिस अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिए हैं कि नशे के कारोबार से जुड़े किसी भी व्यक्ति को किसी भी कीमत पर बख्शा न जाए। उनका कहना है कि नशा केवल अपराध ही नहीं, बल्कि सामाजिक बुराई है, जो परिवारों को तोड़ देती है और युवाओं के भविष्य को अंधकारमय बना देती है। उन्होंने यह भी कहा कि नशा तस्करों की गिरफ्तारी एक बड़ी उपलब्धि है, लेकिन असली जीत तभी होगी जब हम समाज से नशे की लत को पूरी तरह समाप्त कर पाएंगे।
गौरतलब है कि सहारनपुर परिक्षेत्र के तीनों जनपद – सहारनपुर, मुजफ्फरनगर और शामली – नशे की तस्करी के लिहाज से संवेदनशील क्षेत्र माने जाते हैं। यहां नशा तस्कर अक्सर पड़ोसी राज्यों से स्मैक और अन्य मादक पदार्थों की आपूर्ति कर स्थानीय स्तर पर युवाओं को फंसा लेते हैं। पिछले कुछ वर्षों में नशे की गिरफ्त में आने वाले युवाओं की संख्या बढ़ी है, जिससे समाज और परिवार दोनों संकट में पड़ते जा रहे हैं। “ऑपरेशन सवेरा” का यही उद्देश्य है कि ऐसे नेटवर्क को जड़ से खत्म कर क्षेत्र को नशामुक्त बनाया जाए।
पुलिस की इस कार्रवाई से जहां अपराधियों में दहशत फैली है, वहीं आम जनता ने भी राहत की सांस ली है। नागरिकों का मानना है कि पुलिस का यह अभियान समाज के लिए वरदान साबित होगा। डीआईजी अभिषेक सिंह ने नागरिकों से भी अपील की है कि वे नशे से संबंधित किसी भी गतिविधि की जानकारी तुरंत पुलिस को दें। उन्होंने कहा – “नशे के खिलाफ यह लड़ाई पुलिस अकेले नहीं जीत सकती। इसमें समाज की भागीदारी जरूरी है। हर नागरिक की जिम्मेदारी है कि वह इस जंग में पुलिस का सहयोग करे।”
इस मामले में पुलिस ने पकड़े गए आरोपियों के खिलाफ एनडीपीएस एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज कर लिया है और अदालत में पेश करने की तैयारी चल रही है। इसके अलावा पुलिस इस पूरे नेटवर्क की जड़ तक पहुंचने की कोशिश कर रही है, ताकि मास्टरमाइंड को भी जल्द गिरफ्तार किया जा सके।
“ऑपरेशन सवेरा” केवल तस्करों को पकड़ने तक सीमित नहीं है, बल्कि इसके जरिए समाज को जागरूक करने की भी कोशिश की जा रही है। पुलिस विभिन्न शैक्षणिक संस्थानों और सार्वजनिक मंचों पर युवाओं को नशे के दुष्परिणामों के बारे में जागरूक कर रही है। अधिकारियों का मानना है कि नशे का कारोबार तब तक पूरी तरह खत्म नहीं हो सकता, जब तक युवाओं में जागरूकता और नशे से दूर रहने की समझ पैदा न की जाए।
यह कार्रवाई सहारनपुर परिक्षेत्र की पुलिस के लिए एक बड़ी उपलब्धि है और आने वाले समय में नशा तस्करों के खिलाफ होने वाली कार्यवाहियों के लिए मार्गदर्शक साबित होगी। यह सफलता साबित करती है कि जब पुलिस और जनता एकजुट होकर काम करते हैं तो कोई भी अपराधी या अपराध समाज में ज्यादा देर तक टिक नहीं सकता।
रिपोर्ट : एलिक सिंह
संपादक – वंदे भारत लाइव टीवी न्यूज़ / समृद्ध भारत समाचार
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